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राष्ट्रपति बनने के लिए कुछ अनिवार्य शर्तें:
1.वह भारत का नागरिक हो.
2.उसने कम से कम 35 वर्ष की आयु पूर्ण कर ली हो.
3.वह लोकसभा का सदस्य बनने की पात्रता रखता हो.
4.राष्ट्रपति बनने के बाद उम्मीदवार संसद के किसी भी सदन या राज्यों की किसी भी विधानसभा/विधान परिषद का सदस्य नहीं होना चाहिए.
5.वह भारत सरकार के अंतर्गत किसी भी लाभ के पद पर न हो.
राष्ट्रपति चुनाव का चुनाव:
राष्ट्रपति चुनाव में इस्तेमाल होने वाले फार्मूले के आधार पर वोट वैल्यू निकालने के तीन स्टेप्स है:
सबसे पहले हर राज्य के विधायक के वोट की वैल्यू निकाली जाती है.विधायकों की संख्या के आधार पर उस राज्य के कुल वोटों की वैल्यू निकाली जाती है. देश के कुल विधायकों की संख्या और वोट वैल्यू के आधार पर लोकसभा और राज्यसभा के सांसदों के वोट की वैल्यू निकाली जाती है.सबसे पहले हर राज्य के विधायक के वोट की वैल्यू निकाली जाती है.विधायकों की संख्या के आधार पर उस राज्य के कुल वोटों की वैल्यू निकाली जाती है. देश के कुल विधायकों की संख्या और वोट वैल्यू के आधार पर लोकसभा और राज्यसभा के सांसदों के वोट की वैल्यू निकाली जाती है.इस प्रक्रिया से गुज़रते हुए राष्ट्रपति चुनाव में पड़ने वाले कुल वोटों की गणना की जाती है. चुनाव में पड़ने वाले कुल वोटों की वैल्यू निकाली जा सकती है.
राज्य के विधायक के वोट की वैल्यू यानी संख्या निकालने के लिए:- 1971 की जनगणना के अनुसार, राज्य की जनसंख्या को वहां की विधानसभा के निर्वाचित सदस्यों की संख्या से भाग दिया जाए, परिणाम में जो भी संख्या आए, उसे फिर से 1000 से भाग दिया जाए. इसके बाद जो परिणाम निकलेगा, वह उस राज्य के एक विधायक के वोट की वैल्यू होगी. इस तरह प्रत्येक राज्य के विधायकों के वोट की वैल्यू निकाली जाती है.
राज्य की कुल वोट वैल्यू निकालने के लिए:- राज्य के कुल विधायकों के वोटों की वैल्यू निकालने के लिए एक विधायक के वोट की वैल्यू को राज्य विधानसभा के कुल विधायकों की संख्या से गुणा किया जाए. इससे जो परिणाम आएगा, वह उस राज्य का कुल वोट होगा. इसी तरह हर राज्य अपनी भागीदारी राष्ट्रपति चुनाव में सुनिश्चित करता है.
सांसदों के वोट की वैल्यू निकालने के लिए:-सांसदों के वोट की वैल्यू निकालने के लिए संसद के निर्वाचित सदस्यों की संख्या को जोड़ते हैं. लोकसभा और राज्यसभा के निर्वाचित सदस्यों को जोड़कर जो परिणाम आए, उससे राज्यों के कुल वोट में भाग देते हैं. इससे जो परिणाम आए, वह एक सांसद के वोट की वैल्यू होगी. कुल सांसदों के वोटों की वैल्यू निकालने के लिए कुल सांसदों की संख्या को एक सांसद के वोट की वैल्यू से गुणा करते हैं. अब राष्ट्रपति चुनाव में मतदाताओं के वोटों की वैल्यू निकालने के लिए कुल सांसदों और कुल विधायकों के वोटों की वैल्यू जोड़ेंगे, जो परिणाम आए, वह मतदान में कुल पड़ने वाले वोटों की संख्या होगी.
कौन दिलाता है शपथग्रहण:चयनीत उम्मीदवार द्वारा चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया उपस्थिति में शपथग्रहण की जाती है.और वो उपस्थित न हो तो सुप्रीम कोर्ट के सीनियर न्यायाधीश की उपस्थिति में राष्ट्रपति पद की शपथग्रहण की जाती है.
राष्ट्रपति की सैलरी:राष्ट्रपति की सैलरी प्रतिमाह रुपये 1,50,000/- होती है.साथ ही राष्ट्रपति कई भत्ते और रहने के लिए फ्री फर्निश्ड भवन भी मिलता है.निवृत होने के बाद भी राष्ट्रपति को प्रतिमाह रुपये 75,000/- की पेंशन मिलती है.
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